बस्ती,50 वर्ष की आयु पूरी कर चुके अधिकारियों, कर्मचारियों की जबरिया सेवानिवृत्ति पर भड़के कर्मचारी

   

     बस्ती,गुरूवार को विकास भवन कर्मचारी संघ अध्यक्ष राम अधार पाल के नेतृत्व में संघ पदाधिकारियोें ने मुख्यमंत्री को सम्बोधित 2 सूत्रीय ज्ञापन मुख्य राजस्व  अधिकारी नीता यादव को सौंपा। मांग किया कि जनवरी 2022 से देय 3 प्रतिशत मंहगाई भत्ता की किश्त घोषित करने के साथ ही 50 वर्ष की सेवा पूर्ण कर चुके राज्य कर्मचारियों, अधिकारियोें की अनिवार्य सेवानिवृत्ति के निर्णय को तत्काल प्रभाव से वापस लिया जाय।
ज्ञापन सौंपने के दौरान विकास भवन कर्मचारी संघ अध्यक्ष राम अधार पाल ने कहा कि एक-एक कर कर्मचारियों के अधिकार छीने जा रहे हैं, प्रदेश सरकार कर्मचारी संगठनों से कोई वार्ता नहीं कर रही है। मंहगाई लगातार बढ रही है किन्तु अभी तक राज्य कर्मचारियों को जनवरी से देय मंहगाई भत्ता उपलब्ध नहीं कराया गया है। जुलाई माह से मंहगाई भत्ते की दूसरी किश्त मिल जानी चाहिये।
50 वर्ष की सेवा पूर्ण कर चुके राज्य कर्मचारियों, अधिकारियोें की अनिवार्य सेवानिवृत्ति के निर्णय को तुगलकी फरमान बताते हुये विकास भवन कर्मचारी संघ महामंत्री ओम प्रकाश एवं वरिष्ठ उपाध्यक्ष दीपमणि शुक्ल ने कहा कि यह निर्णय अधिकारी और कर्मचारी       विरोधी है। कहा कि हर अधिकारी, कर्मचारी को संदेह की दृष्टि से देखना या उन्हें जबरिया आर्थिक अपराधी घोषित कर देना, अधिकारियों, कर्मचारियों की जबरिया सेवानिवृत्ति उनके अधिकारों के साथ घोर अन्याय है। कहा कि अनेक विभागों में अधिकारियों, कर्मचारियों का स्थान वर्षो से रिक्त हैं, उनके स्थान पर नियुक्ति किये जाने की जगह सरकार 50 वर्ष की सेवा कर चुके कर्मचारियों को पुरस्कार देने की जगह दण्ड का जो प्रस्ताव लायी है, अधिकारी, कर्मचारी संगठन इसका मुखर विरोध करेंगे और इसे स्वीकार नहीं किया जायेगा।
मुख्यमंत्री को भेजे 2 सूत्रीय ज्ञापन में जनवरी 2022 से देय 3 प्रतिशत मंहगाई भत्ता की किश्त घोषित किये जाने, 50 वर्ष की सेवा पूर्ण कर चुके राज्य कर्मचारियों, अधिकारियोें की अनिवार्य सेवानिवृत्ति के निर्णय को वापस लिये जाने की मांग शामिल है।

ज्ञापन सौंपने वालों में संघ उपाध्यक्ष शैलेन्द्र चौधरी, रामचन्दर, मनोज कुमार, सज्जन उपाध्याय, आलोक कुमार, हरीराम पाण्डेय आदि शामिल रहे।

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