इस बार 22 तारीख को मनाया जाएगा खुशहाल परिवार दिवस

खुशहाल परिवार दिवस इस माह 22 तारीख को मनाया जाएगा। हर माह की 21 तारीख को इसका आयोजन जिला महिला अस्पताल सहित सभी ब्लॉक स्तरीय अस्पतालों, पीएचसी, एएनएम सेंटर व हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर पर होता है। इस बार 21 तारीख को अवकाश पड़ जाने के कारण इसका आयोजन अगले दिन किया जा रहा है। खुशहाल परिवार दिवस के अवसर पर पात्र दंपत्ति को परिवार नियोजन से संबंधित साधनों का बास्केट ऑफ च्वॉयस उपलब्ध कराया जाता है। इस आयोजन का उद्देश्य लोगों को परिवार नियोजन के प्रति जागरूक करके छोटा परिवार रखने के लिए प्रेरित करना है।

एसीएमओ आरसीएच डॉ. सीके वर्मा ने बताया कि आशा द्वारा गांव में पात्र दंपत्ति को प्रेरित करके स्वास्थ्य केंद्र पर लाना होता है। यहां पर दंपत्ति की काउंसिलिंग की जाती है तथा उसके लिए उचित साधन अपनाने को कहा जाता है। जिन लोगों द्वारा नसबंदी की इच्छा व्यक्त की जाती है, उनका पंजीकरण कराकर नसबंदी के निर्धारित सेवा दिवस के दिन उन्हें बुलवाकर ऑपरेशन कराया जाता है। इसके अतिरिक्त परिवार नियोजन का जो भी साधन उपलब्ध होता है, वह लोगों को मुहैया कराया जाता है। उन्होंने बताया कि परिवार नियोजन के माध्यम से जहां छोटा और सुखी परिवार बनाने के लिए प्रेरित किया जाता है, वहीं इसके द्वारा शिशु एवं मातृ मृत्यु दर में कमी लाने में सहयोग मिलता है।

डॉ. वर्मा ने बताया कि जनपद की कुल प्रजनन दर 3.5 है जो राष्ट्रीय औसत से अधिक है। इसे देखते हुए जिले में मिशन परिवार विकास कार्यक्रम चलाया जा रहा है। ज्यादा से ज्यादा लोगों तक जानकारी पहुंचाई जा रही है, जिससे वह योजना का लाभ उठा सकें।

सभी प्रभारी चिकित्सा अधिकारी (एमओआईसी) से कहा गया है कि खुशहाल परिवार दिवस का आयोजन कोविड प्रोटोकाल के साथ किया जाए। लोगों को मॉस्क पहन कर आने को कहें  तथा एक दूसरे से पर्याप्त दूरी अस्पताल में बनाए रखें। अस्पताल में सेनेटाइजर व हाथ धोने के लिए साबुन व पानी की व्यवस्था कराई जाए। लोगों को कोविड के प्रति भी जागरूक किया जाए।

छोटे परिवार के प्रति महिलाओं में बढ़ी जागरूकता

छोटे परिवार के प्रति महिलाओं में जागरूकता बढ़ी है। डॉ. वर्मा ने बताया कि इस वित्तीय वर्ष में 1137 महिलाओं ने प्रसव पश्चात पीपीआईयूसीडी, 1191 महिलाओं ने आईयूसीडी, 722 महिलाओं द्वारा तिमाही गर्भनिरोधक अंतरा इंजेक्शन लिया जा रहा है। इसके अलावा परिवार नियोजन से संबंधित अन्य संसाधनों का भी इस्तेमाल किया जा रहा है।

Post a Comment

0 Comments